मेरठ। विदेशों में जहां सेना में तीन साल की न्यूनतम सेवा के बाद भी सिविल सेवाओं में नौकरी मिलती है, वहीं भारतीय सेना में शामिल होने के साथ ही सैनिक सिविल सेवाओं में प्रतिनियुक्ति के लिए योग्य हो जाते हैं। सैनिकों को यह प्रतिनियुक्ति सेवा के अंतिम साल में मिलती है। एक साल की प्रतिनियुक्ति पूरा होने के बाद पुन:नियुक्ति प्रदान की जाती है। देश के सभी सरकारी विभागों, ट्रैबुनल आदि में यह व्यवस्था एक मई 1986 से ही लागू है। लेकिन जानकारी के अभाव में बहुत कम संख्या में पूर्व सैनिक इन प्रतिनियुक्तियों के लिए आवेदन करते हैं।
1979 में बना था मसौदा
सैनिकों को प्रतिनियुक्ति और पुन:नियुक्ति देने का मसौदा भारत सरकार ने 19 मर्ई 1979 को तैयार कर लिया था।
इस मसौदे को लागू करने का आदेश डीओपीटी यानी डिपार्टमेंट आफ पर्सोनेल एंड ट्रेंनिंग ने एक मई 1986 को जारी किया था। नियुक्ति नियमावली में एकरूपता बरकरार रखने के लिए यूपीएससी संग परामर्श के बाद रिक्रूटमेंट रूल में संशोधन किए गए थे। इसके अंतर्गत सेना में सेवा के अंतिम वर्ष के लिए सैनिक विभिन्न सरकारी विभागों में प्रतिनियुक्ति के लिए आवेदन कर सकते हैं। इसमें सैनिक की पूरा सर्विस विवरण विभागीय चैनल से भेजा जाता है। पद की योग्यता के अनुसार मिले आवेदनों में से सैनिकों का चयन होता है।
रिटायर नहीं, डिस्चार्ज होते हैं सैनिक
भारतीय सेना में सैनिकों की निर्धारित सेवा समाप्त होने के बाद वह रिटायर नहीं बल्कि डिस्चार्ज किए जाते हैं। पांच साल के लिए सैनिक डिस्चार्ज रहते हैं। इस दौरान सेना को उनकी जरूरत पडऩे पर वह किसी भी समय वापस बुलाए जा सकते हैं। प्रतिनियुक्ति व्यवस्था में सेना में सेवा के अंतिम वर्ष व डिस्चार्ज सैनिकों को प्राथमिकता मिलती है। प्रतिनियुक्ति में 56 साल की आयु से पहले जाना होता है। सैनिकों की सेवा 34 से 52 साल तक होती है। सुबेदार मेजर पद से 52 साल में सैनिक डिस्चार्ज होते हैं। वह 56 साल तक आवेदन कर सकते हैं और 60 तक नौकरी कर सकते हैं।
एक रैंक ऊपर होती है नियुक्ति
प्रतिनियुक्ति में सैनिकों को उनके पद से एक पद ऊपर ही नियुक्ति दी जाती है। निचले पर पर नियुक्ति नहीं होती। पूर्व सैनिकों को इस बाबत जागरूक करने के लिए वर्तमान में मेरठ छावनी में कार्यरत सैनिक वीडियो बनाकर यू-ट्यूब पर जारी कर रहे हैं। डीओपीटी ने 12 जुलाई 2021 को एक आरटीआइ के जवाब में बताया है कि यह व्यवस्था आज भी पूर्ण रूप से लागू है।