क्या माननीय शिक्षा मंत्री श्री धन सिंह रावत जी की इस पहल पर बन सकता है देश का पहला बालिका सैनिक स्कूल देवभूमि उत्तराखंड में। गत वर्ष घोड़ाखाल में 969 बेटियां class vi के लिये उतीर्ण हुयी पर एडमिशन मिला दस को। AISSEE 2023 class VI में यद्यपि मुझे घोड़ा खाल के डाटा अभी नहीं मिला पर आल इंडिया में उतीर्ण बेटियों का प्रतिशत गत वर्ष की अपेक्षा 68.3% अधिक है। देवभूमि उत्तराखंड सैन्य भूमि भी है अतः देवभूमि में एक बालिका सैनिक स्कूल की स्थापना शीघ्र हो व जखोली सैनिक स्कूल का विवाद शीघ्र समाप्त हो।
AISSEE 2022 में 969 लड़कियां सैनिक स्कूल घोड़ाखाल में प्रवेश परीक्षा में पास हुई है पर एडमिशन 10 को ही मिला जो की 1% है तथा आल इंडिया औसत के 2.03% से काफी कम है। AISSEE 2023 का आल इंडिया का परिणाम निम्नवत है:
देवभूमि उत्तराखंड में अलग बालिका सैनिक स्कूल की स्थापना के लिए
विज़न / सुझाव:
1. उत्तराखंड राज्य बालिका सैनिक स्कूल स्थापना वाला पहला राज्य बने |
2. देश के प्रथम CDS स्वर्गीय जनरल विपिन रावत जी की धर्मपत्नी स्वर्गीय श्रीमती मधुलिका रावत जी के नाम से यमकेश्वर विधानसभा क्षेत्र के लिए विचार हो ।
3. यदि किसी कारणवश यमकेश्वर में न बन पाये तो पहाड़ में किसी उपयुक्त स्थान पर |
4. प्रस्तावित जखोली सैनिक स्कूल भी बेटियों के लिए विचार किया जा सकता है जहाँ पर भूमि पहले से अधिग्रहित है।
5. देश में बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ अभियान के अंतर्गत देवभूमि उत्तराखंड में एक सैनिक स्कूल बेटियों के नाम (लीक से हटकर भी सोचें पीएम नमो महोदय) |
6. दान की भूमि की तलाश न की जाये अन्यथा न तो केंद्रीय विद्यालय खुल पाए व न सैनिक स्कूल खुल पायेंगे |
7. बालिका सैनिक स्कूल खोलने के लिए मीडिया को भी जानकारी दें जिससे भूमि के लिए अच्छे प्रस्ताव आयेंगे व भू-स्वामी/स्वामियों को स्थानीय दर पर प्रतिकार दिया जाये। सरकार ने ऐसे प्रकरण के लिए भूमि उपलब्ध कराने के लिए प्रत्येक जिलाधिकारी की अध्यक्षता में समिति गठित करने के निर्देश भी कुछ दिन पहले दिये
8. किसी सैनिक स्कूल के सेवानिवृत प्राचार्य के अध्यक्षता में समिति गठित हो ।
(एस.पी. नौटियाल )